अंतरराष्ट्रीय न्यूज़ एजेंसी Reuters का आधिकारिक X अकाउंट (पूर्व में ट्विटर) भारत में ब्लॉक कर दिया गया है। एक्स द्वारा प्रदर्शित एक नोटिस के अनुसार, यह कार्रवाई “कानूनी मांग” के जवाब में की गई है। लेकिन सरकार ने इस दावे को खारिज करते हुए कहा है कि उसने ऐसा कोई आदेश नहीं दिया है और वह इस मामले को X (Twitter) के साथ मिलकर सुलझाने की कोशिश कर रही है।
क्या है मामला?
X पर यदि कोई भारतीय यूज़र Reuters के मुख्य X अकाउंट पर जाता है तो उसे एक नोटिस दिखाई देता है जिसमें लिखा है:
“Account withheld. @Reuters has been withheld in IN in response to a legal demand.”
इसका सीधा अर्थ है कि भारत सरकार की किसी कानूनी मांग के तहत यह अकाउंट भारत में अस्थायी रूप से ब्लॉक किया गया है। हालांकि, केंद्रीय सरकार के प्रवक्ता ने साफ किया है कि उन्होंने ऐसा कोई निर्देश नहीं दिया है और इस मामले को हल करने के लिए X से संपर्क किया गया है।
सरकार ने क्या कहा?
एक सरकारी प्रवक्ता ने PTI को बताया:
“Reuters को ब्लॉक करने की कोई आवश्यकता सरकार की ओर से नहीं दी गई है। हम लगातार X के साथ मिलकर इस समस्या को हल करने का प्रयास कर रहे हैं।”
सरकार के इस बयान से यह स्पष्ट है कि यह ब्लॉकिंग या तो पुरानी कानूनी मांग के कारण हुई है या फिर X की ओर से कोई तकनीकी त्रुटि हुई है।
Operation Sindoor के दौरान हुआ था आदेश?
सूत्रों के अनुसार, मई में हुए “Operation Sindoor” के दौरान सैकड़ों X अकाउंट्स को भारत में ब्लॉक करने के लिए सूचीबद्ध किया गया था। इसी सूची में Reuters का नाम भी शामिल था, लेकिन उस समय अकाउंट को वास्तव में ब्लॉक नहीं किया गया था।
एक अधिकारी ने कहा:
“7 मई को एक आदेश ज़रूर जारी किया गया था लेकिन उसपर अमल नहीं हुआ था। X ने अब उस पुराने आदेश को लागू कर दिया है, जो कि एक गलती है। चूंकि अब वह मामला प्रासंगिक नहीं है, सरकार ने X से इस ब्लॉक को हटाने और स्थिति स्पष्ट करने को कहा है।”
कौन-कौन से अकाउंट्स हुए प्रभावित?
सिर्फ मुख्य Reuters X अकाउंट और @ReutersWorld को ही ब्लॉक किया गया है। इसके अलावा अन्य संबंधित अकाउंट्स जैसे:
- @ReutersTech
- @ReutersFactCheck
- @ReutersAsia
- @ReutersChina
… ये सभी अभी भी भारत में सक्रिय और उपलब्ध हैं। इससे स्पष्ट है कि सरकार या X ने केवल मुख्य अकाउंट को ही किसी पुराने आदेश के चलते ब्लॉक किया है।
That's Huge 😉
— Sourabh (@vellasrv) July 5, 2025
Reuters official x handle banned by Indian Govt pic.twitter.com/28SLsy3TTd
X की “कानूनी मांग” नीति क्या कहती है?
X (पूर्व में Twitter) की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के अनुसार, यदि किसी देश की सरकार X से किसी अकाउंट या पोस्ट को ब्लॉक करने की कानूनी मांग करती है — जैसे कि कोर्ट ऑर्डर या स्थानीय कानून के तहत — तो X को वह कंटेंट उस देश में सीमित करना होता है।
इस नीति के अनुसार:
“When we receive a valid legal demand… we may be compelled to withhold access to certain content in the country identified in the demand.”
लेकिन यदि सरकार ही कह रही है कि कोई वैध कानूनी मांग नहीं की गई थी, तो सवाल उठता है कि X ने यह कदम क्यों उठाया?
क्या Elon Musk की X टीम ने गलती से ब्लॉक किया?
सूत्रों के मुताबिक, यह संभावना जताई जा रही है कि X की टीम ने Operation Sindoor के समय मिली लिस्ट के आधार पर इस ब्लॉकिंग को अब लागू किया, बिना यह जांचे कि वह आदेश अब प्रासंगिक है या नहीं।
यदि ऐसा हुआ है, तो यह एक बड़ी चूक है क्योंकि इससे एक बड़ी और विश्वसनीय मीडिया संस्था को भारत में अस्थायी रूप से सेंसर कर दिया गया।
Reuters की प्रतिक्रिया?
इस पूरे घटनाक्रम पर Reuters से ईमेल के माध्यम से संपर्क करने की कोशिश की गई लेकिन अब तक कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है। उम्मीद है कि आने वाले दिनों में संस्था खुद इस विषय पर स्थिति स्पष्ट करेगी।
यह मामला क्यों महत्वपूर्ण है?
- प्रेस की स्वतंत्रता पर सवाल:
जब एक वैश्विक न्यूज़ एजेंसी का अकाउंट बिना स्पष्ट कानूनी आधार के ब्लॉक होता है, तो यह मीडिया की स्वतंत्रता पर बड़ा सवाल उठाता है। - सरकार और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के बीच समन्वय की कमी:
इस मामले से यह भी स्पष्ट होता है कि सरकार और X के बीच सही तालमेल की कमी है। - तकनीकी कंपनियों की जवाबदेही:
Elon Musk की कंपनी X पर यह ज़िम्मेदारी है कि वह सिर्फ वैध और सक्रिय कानूनी आदेशों के आधार पर ही कंटेंट को सीमित करे।
अब आगे क्या होगा?
सरकारी सूत्रों ने कहा है कि सरकार ने X से “स्पष्टीकरण और प्रतिबंध हटाने” के लिए संपर्क किया है। संभावना है कि आने वाले कुछ दिनों में Reuters का X अकाउंट भारत में फिर से सक्रिय हो जाएगा।
इस घटना ने दिखा दिया है कि डिजिटल युग में वैश्विक मीडिया संस्थाओं और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स को कितनी संवेदनशीलता और पारदर्शिता के साथ काम करना चाहिए। भारत सरकार द्वारा इस मामले में तत्परता दिखाना स्वागत योग्य कदम है, लेकिन साथ ही X को भी चाहिए कि वह पुराने आदेशों को लागू करने से पहले उनकी वर्तमान प्रासंगिकता की समीक्षा करे।
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❓ Q1: भारत में Reuters का X अकाउंट क्यों ब्लॉक किया गया है?
उत्तर: X (पूर्व में Twitter) के अनुसार, यह ब्लॉक “एक कानूनी मांग” के कारण किया गया है। हालांकि भारत सरकार ने कहा है कि उसने ऐसी कोई मांग नहीं की है और X से इस निर्णय पर स्पष्टीकरण मांगा है।
❓ Q2: क्या यह ब्लॉक स्थायी है?
उत्तर: नहीं, सरकार और X इस मुद्दे को हल करने की प्रक्रिया में हैं। संभावना है कि Reuters का X अकाउंट जल्द ही भारत में फिर से उपलब्ध हो जाएगा।
❓ Q3: किन अकाउंट्स को ब्लॉक किया गया है?
उत्तर: मुख्यतः @Reuters और @ReutersWorld को भारत में ब्लॉक किया गया है। अन्य अकाउंट्स जैसे @ReutersTech, @ReutersAsia, @ReutersFactCheck आदि अभी भी भारत में सक्रिय हैं।
❓ Q4: क्या यह आदेश Operation Sindoor से जुड़ा है?
उत्तर: हाँ, सूत्रों के अनुसार मई में Operation Sindoor के दौरान जारी की गई ब्लॉकिंग लिस्ट में Reuters भी शामिल था, लेकिन उस समय इसे लागू नहीं किया गया था। X ने अब गलती से उस आदेश को लागू कर दिया है।
❓ Q5: क्या Reuters ने इस पर कोई प्रतिक्रिया दी है?
उत्तर: अब तक Reuters ने इस ब्लॉकिंग पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है, लेकिन उनसे संपर्क की कोशिश की गई है।
❓ Q6: क्या भारत सरकार सोशल मीडिया अकाउंट्स को ब्लॉक कर सकती है?
उत्तर: हाँ, भारत में सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम की धारा 69A के तहत सरकार वैध कारणों से किसी भी अकाउंट या सामग्री को ब्लॉक कर सकती है, लेकिन इस मामले में सरकार ने कोई निर्देश नहीं दिया है।
❓ Q7: यदि मैं भारत में हूं तो Reuters का X अकाउंट कैसे देख सकता हूं?
उत्तर: भारत में उपयोगकर्ता को “Account withheld in India” का संदेश दिखता है। आप किसी वैध VPN सेवा का उपयोग करके इसे देख सकते हैं, लेकिन यह स्थानीय नियमों के तहत वैध होना चाहिए।